यह आलेख मैंने डॉ. बी. आर अंबेडकर सार्वत्रिक विश्वविद्यालय के एम. ए. [हिंदी] के छात्रों के वास्ते ऑडियो पाठ के रूप में लिखा था जिसका रेडियो-प्रसारण भी दिसंबर 2011 में हो चुका है. मनोरंजक बात यह है कि इस आलेख कों डॉ. ऋषभदेव शर्मा ने 'सृजनगाथा' में प्रकाशन के लिए अग्रेषित किया तो जयप्रकाश मानस जी ने इसे उन्हीं के नाम से प्रकाशित कर दिया! [पूर्णिमा शर्मा]